एसईसीएल से रिटायर किए गए कर्मचारी की याचिका हाई कोर्ट ने की मंजूर
कई अर्जी के बाद भी निर्णय नहीं, चार साल पहले किया रिटायर
पटेल ने जन्मतिथि में सुधार करने की मांग करते हुए एसईसीएल प्रबंधन के समक्ष कई आवेदन दिए, लेकिन इनका निराकरण नहीं किया गया। इसके बाद उन्होंने हाई कोर्ट में याचिका लगाई। हाई कोर्ट के जस्टिस दीपक कुमार तिवारी की बेंच ने याचिका मंजूर करते हुए चार साल की सैलरी का एरियर्स समेत सभी आर्थिक लाभ देने के निर्देश दिए हैं।
बिलासपुर….कर्मचारी के सर्विस रिकॉर्ड में जन्मतिथि को गलत दर्ज कर चार साल पहले रिटायर कर दिया गया। कर्मचारी ने विभाग के समक्ष अभ्यावेदन दिया, लेकिन राहत नहीं मिली, इसके बाद हाई कोर्ट में याचिका लगाई गई थी। हाई कोर्ट ने 10 साल पहले लगाई गई याचिका मंजूर करते हुए चार साल की सैलरी का एरियर्स समेत सभी आर्थिक लाभ देने के आदेश एसईसीएल प्रबंधन को दिए हैं।
मध्यप्रदेश के शहडोल जिले के अमलई में रहने वाले राम निरंजन पटेल ने एडवोकेट अनिल त्रिपाठी के जरिए वर्ष 2014 में हाई कोर्ट में याचिका लगाई थी, इसमें बताया कि उनकी नियुक्ति 14 नवंबर 1975 को एसईसीएल के सोहागपुर अंडर ग्राउंड कोल माइंस, अमलई में जनरल मजदूर के पद पर हुई थी। स्कूल रिकॉर्ड के अनुसार उनकी जन्मतिथि 9 अक्टूबर 1958 है। उन्होंने वर्ष 1970 में कक्षा 8वीं की परीक्षा अमलई के मिडिल स्कूल से पास की थी। वर्ष 1974 में हायर सेकेंडरी की परीक्षा दी, जिसमें पूरक मिला था। बाद में वर्ष 1977 हायर सेकेंडरी की परीक्षा पास की। उनके स्कूल के सभी रिकॉर्ड में 9 अक्टूबर 1958 जन्मतिथि के रूप में दर्ज है। बाद में उनका तबादला सोहागपुर अंडर ग्राउंड माइंस से चचाई माइंस कर दिया गया। यहां वर्ष 1980 में माइनिंग सरदार और वर्ष 1984 में ओवर मैन सर्टिफिकेट जारी किया गया। इन दोनों ही रिकॉर्ड में जन्मतिथि 9 अक्टूबर 1958 दर्ज है, लेकिन एसईसीएल प्रबंधन ने सर्विस रिकॉर्ड में उनकी जन्मतिथि 1 अप्रैल 1979 को 25 वर्ष के हुए दर्ज कर दिया गया। यानी उनकी जन्मतिथि 1 अप्रैल 1945 मान ली गई।